
नाथ के जाने से मालवा निमाड़ में बदल सकते हैं राजनीतिक समीकरण।
बदनावर से कांग्रेस के टिकट पर चुनाव जीते भंवर सिंह शेखावत को कांग्रेस में लाने के लिए कमलनाथ की भूमिका अहम रही। शेखावत वर्षों तक भाजपा में रहे और क्षेत्र क्रमांक पांच, बदनावर से विधायक भी रहे। शेखावत का कहना है कि अभी कुछ कहना जल्दबाजी होगी। न तो नाथ भाजपा में जा रहे हैं और न ही वे कांग्रेस छोड़ रहे हैं। नाथ के कांग्रेस छोड़ने की सिर्फ अटकलें हैं।
शेखावत के अलावा पूर्व मंत्री और खातेगांव से विधायक रहे दीपक जोशी भी भाजपा छोड़कर कांग्रेस में आए। वे भी नाथ के कहने पर भाजपा छोड़कर कांग्रेस में आए। अब नाथ को लेकर लगाई जा रही अटकलों से वे हैरान हैं।
इसके अलावा इंदौर के सिंधिया समर्थक रहे समदंर पटेल पहले कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आए थे। विधानसभा चुनाव के समय वे फिर कांग्रेस में गए और जावद विधानसभा क्षेत्र से उन्होंने चुनाव भी लड़ा। वे भी नाथ के कारण कांग्रेस में फिर आए थे। अभी उन्होंने भी पत्ते नहीं खोले हैं कि उनका क्या रुख रहेगा।
इंदौर में भी है नाथ समर्थकों की फौज
इंदौर में कमलनाथ समर्थक नेतागणों की कमी नहीं है। कांग्रेस के दो पूर्व विधायक संजय शुक्ला, विशाल पटेल के अलावा कार्यकारी अध्यक्ष गोलू अग्निहोत्री, पूर्व नगर अध्यक्ष विनय बाकलीवाल, केके यादव की गिनती नाथ के कट्टर समर्थकों में होती है। नाथ यदि भाजपा में जाएंगे, तो उनके साथ अधिकांश नेता जा सकते हैं।