
दीपक शर्मा/ माखन नगर : मिनिस्ट्री आफ रूरल डेवलपमेंट भारत सरकार ने 1 जनवरी से महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना अंतर्गत श्रमिकों के मजदूरी भुगतान आधार बेस्ड पेमेंट सिस्टम के आधार पर करना अनिवार्य कर दिया है। यह सिस्टम आधार कार्ड से बैंक का खाता लिंक के आधार पर कार्य करेगा। श्रमिकों को जिस बैंक में मनरेगा मजदूरी का भुगतान चाहिए होगा, उस बैंक में जाकर आधार नंबर को लिंक कराना होगा। उक्त जानकारी मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत संदीप डाबर ने दी।
जनपद पंचायत सीईओ ने मनरेगा के कर्मचारियों की बैठक को लेकर अधिक से अधिक मनरेगा अंतर्गत जनपद में वर्तमान में 9 हजार से अधिक मजदूरो के खाते आधार लिंक है, जो कि आधार भुगतान के लिए सक्षम है। जनपद में वर्तमान में तकरीबन दो हजार मजदूर प्रतिदिवस मनरेगा अंतर्गत मजदूरी कर रहे हैं जिनका भुगतान आधार इनिबेल्ड पेमेंट सिस्टम के आधार पर किया जा रहा है।

की बैठक लेकर अधिक से अधिक मनरेगा मजदूरों के बैंक खाते से आधार लिंक कराने के निर्देश दिए। यह सिस्टम कैसे काम करता है इसकी जानकारी मनरेगा जाबकार्डधारी परिवारों को देने जागरूक और आवश्यक सहयोग करने को कहा।
जन मनरेगा एप बनी मददगार
ए ए ओ सुनीता चौहान ने देनवा पोस्ट को बताया कि जन मनरेगा एक एप्लीकेशन है जिसे मोबाइल में इंस्टाल किया जा सकता है। प्रायः फील्ड स्तर पर श्रमिकों को मजदूरी भुगतान की शिकायतें रहती थी। अब उन शिकायतों और शंकाओं का निराकरण इस एप्लीकेशन के माध्यम से उनके समक्ष तत्काल किया जा सकता है। जन मनरेगा में जाबकार्ड नंबर के आधार पर उस जाबकार्ड में परिवार, कार्य दिवस व कार्य विवरण, भुगतान विवरण, आधार से संबंधित विवरण के साथ राशि भुगतान किस बैंक खाते में गए है वो भी जानकारी मिल पाएगी।