
माखननगर: नर्मदापुरम जिले के एक छोटे से कस्बे माखननगर (Makhan Nagar)के छोटे से मैदान में गिट्टी डंप से उठ रही धूल…किसने सोचा था बात इतनी दूर तलक जाएगी। सच बताएं तो किसी ने नहीं, लेकिन 21 मई को एक ट्वीट ने उस समय बवाल मचा दिया जब ये पता चला कि भारत सरकार के अधीन दिल्ली (Delhi) के एक दफ्तर ने इस मामले में चिट्ठी दौड़ा दी। मामले में मध्यप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड पहले ही कार्रवाई कर चुका है, पर अब CPCB दिल्ली (Delhi) ने भी मामले में संज्ञान लेते हुए माखननगर की आवोहवा की सुध ले ली है। इसकी पुष्टी खुद CPCB दिल्ली (Delhi) ने एक ट्वीट पर रिप्लाई करते हुए की है।
CPCB दिल्ली ने प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को लिखा
डंपिंग यार्ड में माखननगर के सिराली कॉलोनी के रहवासी इलाके में उठा धूल का गुबार दिल्ली (Delhi) वालों की आंखों से भी बच नहीं पाया। सेंट्रल पाल्यूशन कंट्रोल बोर्ड यानी CPCB दिल्ली ने मध्यप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को इस मामले में सख्त एक्शन लेने के लिए लिख दिया है। इसके बाद जो कार्रवाई अब तक अवैध गतिविधि के रोक तक सीमित मानी जा रही थी अब वह जिम्मेदारों पर तगड़े जुर्माने और बड़ी कार्रवाई तक भी पहुंच सकती है।

नगर का पहला मामला जिसमें CPCB दिल्ली हुआ इन्वॉल्व
माखननगर का यह पहला मामला है जिसमें अब CPCB दिल्ली (Delhi) भी इन्वॉल्व हो गया है। CPCB दिल्ली (Delhi) ने मध्यप्रदेश के मुख्यालय पर पत्र लिखकर पूरे मामले की जानकारी मांगी है। साथ ही एयर एक्ट 1981 के अंतर्गत कार्रवाई करने के लिए भी निर्देशित किया है।
ये है मामला
बिंदल डेवलपर्स माखननगर थाने से सिराली कॉलोनी की नहर तक और मुख्य सड़क पर आरा मशीन से लेकर सुमित्रा पब्लिक स्कूल तक सड़क चौड़ीकरण का काम करने वाला है।निर्माण के नाम पर बिंदल डेवलपर्स ने नगर के रहवासी इलाके सिराली कॉलोनी डंपिंग यार्ड बना लिया। जहां गिट्टी की लोडिंग अनलोडिंग हो रही थी।इसी जगह पर मिक्सिंग के लिए सीपी 30 प्लांट लगाने की भी तैयारी थी।

प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने ये की थी कार्रवाई
शिकायत मिलने के बाद प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की टीम ने 14 मई को माखननगर का निरीक्षण किया था।शिकायत मिलने के बाद प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की टीम ने 14 मई को माखननगर का निरीक्षण किया था।
निरीक्षण के दौरान टीम ने पाया कि गिट्टी की डंपिंग होने के कारण फ्यूजिटिव इमिशन्स की समस्या हो रही है।प्रदूषण को रोकने के लिए मौके पर कोई उपाय नहीं किये गए। इससे वायु प्रदूषण की स्थिति बन रही है।
मध्यप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी अभय सराफ ने पीडब्ल्यूडी के एसडीओ के साथ ही एसडीएम और सीएमओ को पत्र लिखकर तत्काल लोडिंग अनलोडिंग पर प्रतिबंध लगाने के निर्देश दिये हैं।
साथ ही बिना अनुमति के रहवासी इलाके में डंपिंग यार्ड बनाने के लिए जिम्मेदार पर 7 दिनों में कार्रवाई करने को कहा है।
वायु प्रदूषण हमारे लिए कितना खतरनाक
डंपिंग या सीपी 30 प्लांट रहवासी इलाके में चलता तो यहां धूल उड़ने से हवा में PM 10 और PM 2.5 की मात्रा बढ़ जाती। ये कण हमारे मुंह और फेफड़ों के जरिए शरीर के अंदर चले जाते हैं।
इससे खांसी और अस्थमा के दौरे पड़ सकते हैं। उच्च रक्तचाप, दिल का दौरा, स्ट्रोक जैसी बीमारी भी हो सकती है।