Ujjain News : खतरे के निशान से ऊपर बह रही मां शिप्रा, बड़नगर रोड पर आवागमन रोका, दो मकान क्षतिग्रस्त

Rain In Ujjain Maa Shipra flowing above the danger mark traffic stopped on Badnagar Road

खतरे के निशान से ऊपर बह रही मां शिप्रा

शनिवार रात से शुरू हुए पानी के कारण अब चारो ओर तबाही जैसा मंजर नजर आने लगा है। स्थिति यह हो चुकी है कि गंभीर डैम जहां लबालब भर चुका है। वहीं, मां शिप्रा भी खतरे के निशान से ऊपर की ओर बह रही है। प्रशासन पूरी तरह मुस्तैद होकर बचाव कार्यों में लगा हुआ है, जिससे कि शहर हो या ग्रामीण क्षेत्र कहीं भी लोगों को बारिश के कारण परेशानी का सामना न करना पड़े।

भारी वर्षा के बाद उज्जैन में गंभीर डैम पूरी तरह भर चुका है। वाटर लेबल मेंटेन करने के लिए गंभीर डैम के पांच गेट को खोला गया है। वहीं, शिप्रा नदी में लंबे समय अधिक मात्रा में बारिश का पानी पहुंचने से बाढ़ के हालात बन गए हैं। शिप्रा का स्तर खतरे के निशान पर आ गया है। नदी किनारे के अधिकांश क्षेत्र जलमग्न हो गए हैं। पिछले 24 घंटे में शहर में 4.5 इंच से अधिक वर्षा दर्ज की गई है।

शहर के कई इलाकों में जलजमाव और घरों में पानी भरने की जानकारी मिली है। शिप्रा का पानी बड़नगर रोड स्थित बड़े पुल से दो फीट उपर बह रहा था। इसी के चलते पुल पर आवागमन रोक दिया गया है। शिप्रा किनारे दो मकान क्षतिग्रस्त होने के साथ कुछ झोपड़ियां पानी में बहने की खबर है। मौसम विज्ञान केंद्र भोपाल के अनुसार आज देर रात तक भारी बारिश का दौर जारी रहने की संभावना है। इधर प्रशासन ने बाढ़ से निपटने के लिए व्यापक इंतजाम किए हैं।

टूट गया सात साल का रिकॉर्ड

शिप्रा में बाढ़ की स्थिति निर्मित हो गई है। भारत सरकार के केंद्रीय जल आयोग चंबल मंडल की जानकारी के अनुसार, शनिवार को शिप्रा नदी का जलस्तर 476.500 मीटर हो गया था। यह चेतावनी के स्तर तक पहुंच गया था। जल संसाधन विभाग के बाढ़ नियंत्रण कक्ष के अनुसार शिप्रा नदी का चेतावनी स्तर 476 मीटर है और खतरे का स्तर 477 मीटर निर्धारित है। शिप्रा नदी का उच्चतम बाढ़ स्तर 483.810 मीटर माना गया है, जिस गति से शिप्रा में पानी बढ़ रहा है, उससे नदी में बाढ़ का खतरा बना हुआ है। जीवाजीगंज वेधशाला के अनुसार उज्जैन मे सुबह 8.30 बजे तक 24 घंटे के दौरान 119.4 मिमी (4.5 इंच) वर्षा दर्ज की गई है।

घाट पर पंडे-पुजारियों के सामान और तखत नदी में बहे

शिप्रा में आई बाढ़ के कारण पंडे पुजारियों के सामान नदी में तेज बहाव के साथ बह गए। प्रशासन ने ताबड़तोड़ बैरिकेडिंग कर प्रवेश रोका। एसडीएम एस एन गर्ग ने बताया कि शिप्रा में पानी बढ़ने के कारण बाढ़ के हालात बन चुके हैं। होमगार्ड सैनिक ईश्वरलाल चौधरी ने बताया रात 12 बजे से शिप्रा नदी का जल स्तर बढ़ने लगा था। एसडीआरएफ और होमगार्ड सैनिकों ने रात में ही दुकानों को खाली कराया और घाट के पास के मकानों में लोगों को अलर्ट कर दिया था। सुबह नदी का जल स्तर बड़े पुल को पार कर गया। घाट के लोटा गुरु पं. आनंद जोशी ने बताया नदी के तेज बहाव में उनका सारा पूजन समान बह गया। घाट पर लगे तखत आदि भी बह गए। इसके साथ ही अन्य पंडितो के सामान भी बह गए।

गंभीर में पांच गेट खोले

गंभीर डैम नियंत्रण कक्ष से मिली जानकारी के अनुसार, इंदौर के यशवंत सागर के गेट खोलने के साथ कैचमेंट इलाके में जोरदार बारिश से गंभीर डेम में पानी की आवक लगातार बनी हुई है। डेम का वाटर लेवल मेंटेन करने के लिए डैम के छह में से पांच गेट खोले गए हैं। इसमें गेट नं 1,2,3,4,6 खोला गया है। डैम का वाटर लेवल 2037 एमसीएफटी पर मेंटेन किया जा रहा है। बता दें कि डेम की क्षमता 2250 एमसीएफटी है।

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