रीजनल इंडस्ट्रीज कॉन्क्लेव में सेक्टरल सत्र के तीसरे दौर में मध्य प्रदेश में पर्यटन के विकास की संभावनाओं पर विस्तार से चर्चा की गई तथा अतिथियों के सुझाव लिए गए। इस सत्र में मध्य प्रदेश तथा प्रदेश के बाहर से आए अनेक होटल रेस्टोरेंट तथा पर्यटन गतिविधि को संचालित करने वाली संस्थाओं के प्रतिनिधि शामिल रहें।
सत्र की शुरुआत में सर्वप्रथम पर्यटन विभाग के प्रमुख सचिव श्री शिवशेखर शुक्ला तथा पर्यटन निगम के प्रबंध निदेशक श्री टी इलैया राजा ने मध्यप्रदेश पर्यटन को बढ़ावा देने वाली प्रदेश सरकार की नीतियों और पर्यटन जगत के उद्यमियों की भागीदारी बढ़ाने के संबंध में अतिथियों को विस्तार से जानकारी दी।
मध्य प्रदेश में अपनी कई फिल्म बना चुके फिल्म निर्माता श्री राजकुमार संतोषी ने कहा कि मध्य प्रदेश में पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं। उन्होंने कहा कि फिल्मों की शूटिंग के लिए यहां की जलवायु, यहां का प्राकृतिक सौंदर्य, फिल्मों के सीन के अनुरूप शूटिंग के लिए लोकेशन और यहां की लोगों और प्रदेश सरकार की सहयोगात्मक तथा सकारात्मक सहयोग के कारण अन्य राज्यों की अपेक्षा मध्य प्रदेश में फिल्म बनाना अधिक सुविधाजनक है। श्री संतोषी ने कहा कि जो एक बार मध्यप्रदेश शूटिंग के लिए आता है फिर वह बार-बार आने लगता है। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश में फिल्म उद्योग स्थापित हो सकता है। उन्होंने कहा कि निवेशक इस क्षेत्र में आए तो निश्चित ही उन्हें अपनी इन्वेस्टमेंट का अच्छा प्रतिफल मिलेगा और इसके साथ ही प्रदेश की पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा। उन्होंने कहा कि हमें प्राकृतिक स्थलों की संरक्षण का भी ध्यान रखना होगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश के धार्मिक स्थल भी पर्यटन के रूप में विकसित किए जा सकते हैं लेकिन हमें धार्मिक आस्था का भी ध्यान रखना होगा।
इंडिया हाईक्स के सीईओ अर्जुन मजूमदार ने कहा कि साहसिक गतिविधियों के लिए मध्य प्रदेश से बेहतर कोई दूसरा राज्य नहीं है। पूरे प्रदेश में पैरासेलिंग स्की जंपिंग तथा ट्रैकिंग के साथ ही अन्य साहसिक गतिविधियों के लिए पूरे प्रदेश में असंख्य स्थल है। उन्होंने कहा कि नए रूट खोजने और उनके प्रमोशन की जरूरत है मध्य प्रदेश सेंट्रल इंडिया होने के कारण यहां साहसिक पर्यटन को तेजी से विकसित किया जा सकता है। प्रदेश की कई ऐसी सेंचुरियन है जहां ऐसी गतिविधियां वन विभाग और पर्यटन समन्वय कर आयोजित कर सकते हैं।
पर्यटन विभाग के प्रमुख सचिव शिवसेखर शुक्ला ने कहा कि हमें प्रदेश में पर्यटन के विकास और पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए सभी के सुझाव पर हम गहन विचार करेंगे। उन्होंने कहा कि हमें हमें इस बात का भी ध्यान रखना है कि मध्य प्रदेश में लाखों, करोड़ों साल पुरानी पुरा संपदा और प्राकृतिक संरचनाएं आज भी अपने मूल स्वरूप में विद्यमान है। हमें इसे क्षति पहुंचाए बिना पर्यटन को बढ़ाना है। सरकार मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव के नेतृत्व में सभी के सहयोग से इस दिशा में काम कर रही है।
सेक्टरल सेशन में होटल एवं रेस्टोरेंट संचालक रोहित महेश्वरी ,धनंजय विजय सिंह तथा चेतन गोठी ने भी कई सुझाव दिए।
