![Gwalior: ग्वालियर के सॉफ्टवेयर इंजीनियर की जर्मनी में मौत, शव को भारत लाने के लिए मदद की गुहार लगा रहे परिजन Gwalior News: software engineer dies in Germany, relatives pleading for help to bring the dead body to India](https://i0.wp.com/staticimg.amarujala.com/assets/images/2023/08/18/750x506/paravara-ka-satha-paranaeta_1692322663.jpeg?resize=414%2C233&ssl=1)
परिवार के साथ प्रणीत
जर्मनी के म्यूनिख शहर में एक निजी कंपनी में काम करने वाले ग्वालियर के युवा प्रणीत राठौर की म्युनिख में आकस्मिक मौत हो गई है। पिछले चार दिन से ग्वालियर में निवासरत उसका परिवार अपने बेटे के शव को भारत मे लाने के लिए परेशान है। प्रणीत के पिता ने पीएम ऑफिस से लेकर ग्वालियर के दोनों केंद्रीय मंत्रियों और प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से पत्र लिखकर बेटे के शव को भारत लाने में मदद करने की अपील की है।
ग्वालियर के ललितपुर कॉलोनी में रहने वाले बाबू सिंह राठौर का बेटा प्रणीत राठौर प्राइवेट कंपनी इएसएसटीटीआई में काम करता था। वह पिछले तीन सालों से जर्मनी के म्यूनिख शहर में कार्यरत था। 13 अगस्त की रात घर लौट कर सोने के बाद सुबह जब उसकी पत्नी ने जगाया तो प्रणीत उठ नहीं सका। जब डॉक्टर को दिखाया तो पता चला कि प्रणीत की मौत हो चुकी है, जिसके बाद उसके शव को मर्चुरी में रखा गया है। प्रणीत के पिता बताते हैं कि पिछले चार दिनों से उन्होंने अपने बेटे के शव को वापस भारत गृह नगर में लाने के लिए हर संभव प्रयास किया है। उनकी बहू नीलम राठौर और उनका मासूम सात वर्षीय बच्चा भी म्यूनिख शहर में है जो कि अब पूरी तरह से अकेले पड़ चुके हैं।
इस संबंध में उन्होंने पीएमओ ऑफिस विदेश मंत्रालय भारत सरकार के केंद्रीय मंत्री और प्रदेश के सीएम शिवराज सिंह चौहान को भी ट्वीट कर मदद मांगी है और पत्र भी लिखे हैं, लेकिन अभी तक उन्हें कोई मदद नहीं मिल पाई है। बेटे के जाने के बाद पूरे परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट चुका है और बेटे के अंतिम संस्कार में हो रही देरी के कारण पूरा परिवार परेशान है, जिसके कारण उन्होंने एक निजी एजेंसी की भी मदद ली है, जिससे बेटे की मृत देह को जल्द से जल्द अपने गृह नगर लाकर पूरे रीति-रिवाज से उसका अंतिम संस्कार किया जा सके।