बरसात में आंखों की रोशनी पर संकट: तेजी से फैल रहा ‘फंगल कॉर्नियल इंफेक्शन’

खरगोन। बरसात का मौसम जहां खेतों की हरियाली लाता है, वहीं स्वास्थ्य के लिए कई तरह की चुनौतियां भी खड़ी कर देता है। सर्दी-खांसी और बुखार के साथ-साथ अब आंखों की एक गंभीर बीमारी ने भी दस्तक दे दी है। डॉक्टरों की मानें तो इस मौसम में फंगल कॉर्नियल इंफेक्शन—यानी आंखों का फंगल संक्रमण—तेजी से फैल रहा है। यह संक्रमण समय पर इलाज न मिलने पर आंखों की रोशनी भी छीन सकता है।

नेत्र रोग विशेषज्ञों का कहना है कि हर साल बारिश के दौरान इस संक्रमण के मामले खरगोन सहित देशभर के कई हिस्सों से सामने आते हैं। विशेषकर वे लोग जो मिट्टी, धूल या पानी से जुड़े कार्य करते हैं, इस संक्रमण की चपेट में जल्दी आ जाते हैं।

किसे है अधिक खतरा?

यह बीमारी मुख्य रूप से किसानों, माली, निर्माण मजदूरों और कुम्हारों जैसे पेशों से जुड़े लोगों को प्रभावित करती है। इसके अलावा छोटे बच्चों और बुजुर्गों में भी इसका खतरा अधिक रहता है, क्योंकि इनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होती है। आंखों में पहले से एलर्जी या अन्य संक्रमण से पीड़ित व्यक्ति भी इसकी चपेट में जल्दी आ सकते हैं। डॉक्टरों के अनुसार यह संक्रमण हवा के माध्यम से भी फैल सकता है।

संक्रमण के शुरुआती लक्षण

खरगोन के नेत्र रोग सह-चिकित्सक डॉ. महेश पाटीदार बताते हैं कि इस संक्रमण के शुरुआती लक्षणों में आंखों में जलन, चिपचिपापन, लालिमा और अत्यधिक डिस्चार्ज शामिल हैं। यदि दो-तीन दिन में इलाज न हो तो आंख की पुतली पर सफेद छाला बन जाता है, जो बाद में फट सकता है। इससे संक्रमण बढ़ जाता है और धीरे-धीरे दृष्टि कमजोर होने लगती है। एक बार रोशनी चली जाने पर उसे वापस पाना मुश्किल हो जाता है।

बच्चों में बढ़ता खतरा

छोटे बच्चों में यह संक्रमण तेजी से फैल सकता है क्योंकि वे आंख में दर्द या जलन ठीक से बता नहीं पाते। कई मामलों में आंखें पूरी तरह चिपक जाती हैं और बच्चा आंखें खोल भी नहीं पाता।

बचाव ही सबसे बेहतर उपाय

खेत या मिट्टी में काम करते समय चश्मा पहनें

दिन में कई बार साफ पानी से आंखें धोएं

किसी भी प्रकार की जलन या चिपचिपाहट को नजरअंदाज न करें

संक्रमित व्यक्ति का तौलिया, रुमाल या तकिया उपयोग में न लें

बच्चों को मिट्टी या गंदगी से दूर रखें

बिना डॉक्टरी सलाह के आई ड्रॉप या स्टेरॉयड का उपयोग न करें

संक्रमण से बचें, रोशनी बचाएं

डॉक्टरों का स्पष्ट संदेश है: थोड़ी सी सतर्कता आपकी आंखों की रोशनी बचा सकती है। यदि लक्षण दिखाई दें तो तुरंत नेत्र विशेषज्ञ से संपर्क करें। फंगल कॉर्नियल इंफेक्शन के मामले भले अब तक जागरूकता की रोशनी में कम नजर आते रहे हों, लेकिन यह बीमारी एक गंभीर सार्वजनिक स्वास्थ्य समस्या बनती जा रही है।

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