नर्मदापुरम। पिछले चार दिनों से लगातार हो रही भारी बारिश के चलते नर्मदापुरम जिले में जल संकट जैसी स्थिति उत्पन्न हो गई है। शुक्रवार रात हुई मूसलधार बारिश के बाद शनिवार को तवा डैम का जलस्तर अचानक तेजी से बढ़ गया, जिससे डैम के 7 गेट 10-10 फीट तक खोले गए। इससे लगभग 1,08,450 क्यूसेक पानी नर्मदा नदी में छोड़ा गया है।
प्रशासन ने जारी किया अलर्ट, निचली बस्तियाँ खाली कराई जा रही हैं
तवा डैम के गेट खोले जाने के बाद जिला प्रशासन सतर्क हो गया है। कलेक्टर डॉ. सोनिया मीणा ने नर्मदा नदी के समीप बसे गांवों के रहवासियों से अपील की है कि वे तुरंत नदी किनारे से दूरी बनाए रखें और सुरक्षित स्थानों की ओर स्थानांतरित हो जाएं।
प्रशासन द्वारा डैम के नजदीक पहुंच रहे लोगों को हटाने के लिए सख्ती भी बरती जा रही है। पुलिस बल तैनात कर डैम के आसपास की सुरक्षा बढ़ा दी गई है और लोगों को डैम क्षेत्र से दूर रहने की सख्त सलाह दी गई है।
निचली बस्तियों में पानी भराव, जनजीवन प्रभावित
लगातार बारिश और नर्मदा नदी में जलस्तर बढ़ने के कारण शहर के निचले इलाकों में जल भराव की गंभीर समस्या देखी गई। कई मोहल्लों में पानी घरों के अंदर घुस गया है, जिससे लोगों को रातभर जागकर सामान बचाना पड़ा। प्रशासन द्वारा लाउडस्पीकर से राहत और बचाव कार्य के लिए घोषणाएँ की जा रही हैं।
आने वाले 5 दिन और भारी: मौसम विभाग का अनुमान
मौसम विभाग ने चेतावनी जारी करते हुए बताया है कि बंगाल की खाड़ी में बने निम्न दाब क्षेत्र के कारण आगामी 5 दिनों तक बारिश का सिलसिला जारी रह सकता है। इससे तवा डैम में और जलभराव की आशंका है।
तवा डैम बना आकर्षण, लेकिन खतरा भी
डैम के सात गेट खुलने की खबर फैलते ही बड़ी संख्या में लोग तवा डैम को देखने पहुँचने लगे, जिससे वहां भीड़ लग गई। प्रशासन ने स्पष्ट कहा है कि यह वक्त पर्यटन का नहीं, सुरक्षा का है। डैम के आसपास की सीमा को सील किया जा रहा है और सुरक्षा कर्मियों की अतिरिक्त तैनाती की जा रही है।
नर्मदापुरम जिले में लगातार हो रही बारिश और तवा डैम से छोड़े गए पानी के कारण नदी किनारे बसे गांवों और शहरी इलाकों में खतरा मंडरा रहा है। प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे सरकारी निर्देशों का पालन करें और किसी भी प्रकार की अफवाह या लापरवाही से बचें।