– न्यूयॉर्क पोस्ट की रिपोर्ट के अनुसार आमतौर पर माना जाता है कि मेमोरी को बूस्ट करने के लिए सभी लोगों को प्रतिदिन 7-8 घंटे की नींद जरूर लेनी चाहिए. अच्छी नींद लेने से लॉन्ग टर्म मेमोरी इंप्रूव होती है. हालांकि अमेरिकी न्यूरोसाइंटिस्ट राचेल समर्स का मानना है कि मेमोरी को तेज बनाने के लिए लोगों को रात में 8 से 10 घंटे की नींद लेनी चाहिए. इससे लोगों को बेहतर परिणाम मिल सकते हैं.
– मेमोरी को इंप्रूव करने के लिए प्रतिदिन वर्कआउट रूटीन फॉलो करना बेहद जरूरी होता है. खासतौर से एरोबिक एक्सरसाइज करना मेमोरी के लिहाज से बेहद फायदेमंद माना जाता है. एरोबिक एक्सरसाइज करने से युवा और बुजुर्ग दोनों की मेमोरी तेज होती है. एक्सरसाइज, स्विमिंग, रनिंग और वॉकिंग करने से ब्रेन तक ब्लड फ्लो बेहतर होता है. इससे ब्रेन फंक्शन को सपोर्ट मिलता है.
– नींद और एक्सरसाइज के बाद मेमोरी को बूस्ट करने का तीसरा सबसे बढ़िया तरीका माइंडफुलनेस है. माइंडफुलनेस एक जगह आराम से बैठकर अपने माइंड और बॉडी पर फोकस करने की प्रैक्टिस है. कई स्टडी में माइंडफुलनेस को प्रीफ्रंटल कॉर्टेक्स की मोटाई बढ़ाने के लिए दिखाया गया है. ब्रेन का यह हिस्सा अटेंशन और मेमोरी से जुड़ा हुआ है. यह प्रैक्टिस मेमोरी के लिए बेहद फायदेमंद होती है.
– ब्रेन बूस्टिंग एक्टिविटी करने से आपकी मेमोरी शार्प हो सकती है. यह ऐसी एक्टिविटी होती हैं, जो आपके ब्रेन को चैलेंज करती हैं. कोई नई भाषा सीखना या किसी इंस्ट्रूमेंट को बजाने की कोशिश करने जैसी एक्टिविटीज मेमोरी परफॉर्मेंस को बेहतर बनाती हैं. ये एक्टिविटीज ब्रेन को स्टिम्युलेट करती हैं और न्यू न्यूरल कनेक्शंस की ग्रोथ को प्रमोट करती हैं. इससे मेमोरी पर पॉजिटिव असर होता है.
– मेमोरी को बूस्ट करने के लिए पिछली चीजों को याद रखना बेहद जरूरी है. आजकल सभी लोग कोई भी चीज याद नहीं करना चाहते हैं और बात-बात पर गूगल इस्तेमाल करते हैं. गूगल का उपयोग किए बिना अपनी मेमोरी पर जोर डालकर पहले पढ़ी या देखी गई चीजों को याद रखने का अभ्यास करना चाहिए. ऐसा करने से आपकी याददाश्त और ज्ञान को आपके दिमाग में रखने वाले संबंध मजबूत हो जाते है.