
इस बार धान उठाने के लिए ना तो मिलर की मर्जी चल रही है और न ही सोसाइटी प्रबंधन की। सब कुछ सॉफ्टवेयर से हो रहा है। शासन ने धान खरीदी में पारदर्शिता लाने भले ही सॉफ्टवेयर शुरू किया है लेकिन यह प्रबंधक, अध्यक्षों व किसानों के लिए परेशानी का सबब बन रहा है। खासकर परिवहन व्यवस्था इससे गड़बड़ा गई है।
सूत्रों की माने तो डीएम ने भी इस व्यवस्था को सुधारने के मामले में हाथ खड़े कर दिए हैं। पहले परिवहन व्यवस्था डीएम के हाथ में होता था। साथ ही मिलरों की भी मर्जी चलती थी कि वे कब, कहां की सोसाइटी से धान उठाने वाले हैं। लेकिन इस बार ऐसा कुछ नहीं हो रहा है। NIC के सॉफ्टवेयर में तकनीकी समस्या आने के कारण सोसाइटी टीसी नहीं काट पा रहीर है।
उठाव के लिए डीओ जारी करना हमारे हाथ में टीसी नहीं
नान डीएम मेघराज यादव ने देनवा पोस्ट को बताया कि इस बार परिवहन के लिए टीसी जारी करना हमारे हाथ में नहीं है। NIC के सॉफ्वेयर (SOFTWARE) में कोई समस्या आ रही है। जिसके सोसायटी से धान का उठाव नहीं हो रहा है। जल्द ही समस्या का निदान कर लिया जाएगा।
समझ में नहीं आ रहा कैसे सुधरेगी बदहाल व्यवस्था
सोसाइटी संचालकों का कहना है कि परिवहन व्यवस्था बदहाल है। समझ में नहीं आ रहा कि कैसे खरीदी व्यवस्था दुरुस्त रख पाएंगे। अभी तक माखन नगर में करीब 50 हजार क्विंटल के आस पास खरीदी हो गई है। लेकिन धान कहीं से भी नहीं उठ पाया है। कई सोसाइटियों पर तो गाड़ियां भरी खड़ी हुई है लेकिन टीसी नहीं होने के कारण नहीं परिवहन नहीं हो रहा है। जिसके कारण धान की खरीदी बाधित होने वाली है।